जब भी किसी का पर्स या फिर मोबाइल पब्लिक प्लेस में खो जाता है तो बहुत कम ही लोग होते हैं जो उसे वापस पाने की आस रखते हैं. इसलिए वो इसकी मिसिं...
जब भी किसी का पर्स या फिर मोबाइल पब्लिक प्लेस में खो जाता है तो बहुत कम ही लोग होते हैं जो उसे वापस पाने की आस रखते हैं. इसलिए वो इसकी मिसिंग रिपोर्ट भी नहीं लिखवाते. जो लिखवाते भी हैं वो 2-4 महीने में उसके मिलने की आस खो बैठते हैं. ऐसे लोगों के लिए एक पॉज़िटिव ख़बर आई है.दरअसल, मुंबई में रहने वाले एक शख़्स का खोया हुआ पर्स उसे पूरे 14 साल बाद मिला है, लेकिन दुख इस बात का है कि उसमें रखे कुछ पैसे वो अब इस्तेमाल नहीं कर सकते. 14 साल बाद अपना खोया हुआ पर्स पाने वाले इस ख़ुशनसीब शख़्स का नाम हेमंत पडलकर है.नवी मुंबई का वाशी रेलवे जीआरपी पुलिस युवक का खोया हुआ पर्स उससे बापस लौटा दिया है ..
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